जेल में बंदी से मारपीट, पीड़ित के पिता ने दिया परिवाद

CRIME HOME

2 दिन बाद भी नहीं हुई कार्रवाई, राजीनामे का बनाया जा रहा दबाव

सूरतगढ़। सूरतगढ़ सब जेल में विचाराधीन बंदीसे मारपीट के मामले में पीड़ित कैदी संदीप के परिजनों ने सिटी थाना में परिवार देकर कार्रवाई की मांग की है। पीड़ित संदीप के पिता महेंद्र सिंह की ओर से दिए गए इस परिवाद में सब जेल के एक हवलदार सहित 4 कार्मिकों बुरी तरह से मारपीट करने का आरोप लगाया है। इस बीच आज पीड़ित सन्दीप को जेल व पुलिस के कर्मचारी कड़ी सुरक्षा के बीच सीएचसी में लेकर पहुंचे। जहां पीड़ित का एक्सरे करवाया गया।

जेल के हवलदार सहित चार लोगों पर लगाया मारपीट का आरोप

पीड़ित बन्दी के पिता महेंद्र सिंह का आरोप

पीड़ित कैदी के पिता महेंद्र सिंह की ओर से दिए गए परिवाद में जैल के 4 कार्मिको पर मारपीट करने का आरोप जड़ा है। परिवाद में पीड़ित के पिता ने कहा है कि प्रार्थी का पुत्र लगभग डेढ़ माह से नहीं न्यायिक अभिरक्षा में चल रहा था। संदीप के जेल में आने के बाद से जेल का हवलदार रूप राम राठी संत्री महेंद्र सिपाही सुशील मील व सुनील परेशान कर रहे थे। महेंद्र सिंह ने आरोप लगाया कि 18 जनवरी को चारों कार्मिकों ने संदीप को बैरक से निकालकर कंबल में लपेट दिया और उसके बाद थाप,मुक्कों, फाइबर के पाइप,डंडो और ठोकरों से पिटाई शुरू कर दी। इस मारपीट से संदीप को गंभीर चोटें आई और वह बेहोश हो गया। बाद में चारों आरोपी उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में लाएं और इंजेक्शन लगवाकर वापस ले गये।

आरोपी जैल कार्मिको ने मांगी माफी

पीड़ित संदीप के पिता महेंद्र सिंह द्वारा दिए गए परिवाद के अनुसार जब उन्होंने सुशील मील से बेवजह मारपीट की वजह पूछी तो सुशील मील माफी मांगने लगा । सुशील मील ने कहा कि हम शराब पिए हुए थे, हमसे गलती हो गई, अब आप कुछ मत करना हम माफी मांग लेंगे।

जेलर नवनीत घोटिया ने भी स्वीकारी घटना

इस मामले में सब जेल के जेलर नवनीत गोटिया ने भी घटना को स्वीकार किया है। उन्होंने माना कि उनकी अनुपस्थिति में ड्यूटी पर तैनात कार्मिकों ने कैदी संदीप के साथ मारपीट की। ने बताया कि जब उन्हें घटना की सूचना मिली तो वह रात को ही संदीप को हॉस्पिटल लेकर गए और प्राथमिक उपचार करवाया।

घटना के 2 दिन बीतने के बाद भी नहीं हुई कार्रवाई

बंदी के साथ मारपीट की इस पूरे मामले में बड़ा सवाल ये है कि जब जेल प्रशासन खुद घटना को स्वीकार कर रहा है तो फिर दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई क्यों नहीं की गई। इस घटना को 2 दिन से ज्यादा का समय बीत चुका है लेकिन दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई नहीं हुई है। सवाल यह भी है कि क्या सूबे की जेलों में बंद कैदियों के कोई अधिकार नहीं है ?

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.